Network Hub क्या है, इसके प्रकार और कैसे काम करता है?

Network Hub क्या है, इसके प्रकार और कैसे काम करता है?

Network Hub क्या है, इसके प्रकार और कैसे काम करता है?

जब बात Networking की आती है तब Hub को हम कैसे भूल सकते हैं. अब सवाल उठता है की क्या आप जानते हैं की Hub या Network Hub क्या  है? इसका एक आसान सा जवाब है की ये एक बहुत ही basic networking device होती है. इसके इस्तमाल से multiple computers को दुसरे networking devices के साथ connect किया जाता है. Hubs ऐसे common network infrastructure devices होते हैं जिसका इस्तमाल LAN connectivity के लिए होता है, वहीँ switches अब hubs को replace करने लगा है. Hubs LANs के central connection point के हिसाब से function करता है.

Hubs को designed किया जाता है Twisted pair cabling के साथ काम करने के लिए और ये normally RJ45 jack का इस्तमाल करते हैं दुसरे devices के साथ connect करने के लिए. Network devices जैसे की (Servers, Workstations, Printers, Scanners etc) को hub के साथ attached किया जाता है individual network cables के माध्यम से. वहीँ Hubs बहुत से अलग अलग shapes में आते हैं और साथ में इसके अलग अलग ports भी होते हैं. इनमें अपना कोई routing table नहीं होते हैं जिससे इन्हें ये नहीं पता होता है की जब कोई data आता है तब उन्हें किस node को भेजा जाये. ये सिर्फ data को multiple ports में broadcast करता है. Hubs OSI data model के Layer -1 (Physical Layer) में operate होता है.

वहीँ Hubs को लेकर लोगों में बहुत से doubts होते हैं. इसलिए आज मैंने सोचा की क्यूँ न आप लोगों को Hubs क्या होता है के विषय में पूर्ण जानकारी प्रदान की जाये जिससे आपको ये पता चल सके की यह networking device कैसे काम करता है और इसके advantages और disadvantages क्या होते हैं. तो फिर बिना देरी किये चलिए शुरू करते हैं.

हब क्या है (What is Hub in Hindi)

Hub एक ऐसा device होता है जो की एक network connection को multiple computers में split करता है. यह एक distribution center के जैसा होता है. जब एक computer information के लिए request करता है किसी एक network से या एक specific computer से, तब ये उस request को send करता है hub को एक cable के माध्यम से. तब hub उस request को receive करती है और उसे पुरे network में transmit करती है. उस network में मेह्जुद प्रत्येक computer को फिर ये जानना होता है की ये जो data broadcast हुआ होता है ये उनके लिए है या फिर नहीं.

लेकिन अभी ये Hubs बहुत ही कम प्रचलन में हैं और इन्हें ज्यादा advanced communication devices जैसे की Switches और Routers के द्वारा replace किया जा रहा है. ये hub basically एक multiport repeater होता है. इस hub का इस्तमाल multiple wires को connect करने के लिए होता है जो की अलग अलग branches से आते हैं, उदहरण के लिए connector जिसका इस्तमाल star topology में होता है और ये अलग अलग stations को connect करने में इस्तमाल किया जाता है.

Hubs data को filter नहीं कर सकता है, इसलिए data packets को सभी connected devices को भेजा जाता है. दुसरे शब्दों में कहें तब, सभी hosts जो की hub के साथ connected होते हैं उनकी collision domain one (1) होती है. इसके अलावा इनकी खुद की intelligence भी नहीं होती है जिससे की वो data packets के लिए best path ढूंड सकें जिससे अंत में इनकी wastage और inefficiencies भी.

हब के प्रकार (Types of Hub in Hindi)

जब बात hubs की types की होती है तब उन्हें technical bases पर तीन broad categories में बांटा जा सकता है. वो हैं Passive hubs, active hubs और intelligent hubs.

Passive Hub

Passive Hubs उन hubs को कहा जाता है जो की collect करते हैं wiring Active Hub के nodes और power supply से. ये hubs signals को relay करते हैं network में बिना उन्हें clean और boost किये, साथ में उन्हें nodes के बिच के distance को extend करने के लिए भी इस्तमाल नहीं किया जा सकता है. जैसे की इसका नाम ही passive है ठीक उसी प्रकार ये केवल signals को broadcast ही करता है input port के माध्यम से, वहीँ उन्हें send करता है output port के माध्यम से.

वहीँ ये signals को regenerate या process करने के लिए कुछ भी नहीं करता है क्यूंकि ये केवल एक connector के जैसे function करता है बहुत से wires को connect करने के लिए एक topology में.

Active Hub

ये उन hubs को कहा जाता है जिनकी खुदकी power supply होती है और वो खुद ही Signals को clean, boost और relay कर सकते हैं network में. ये दोनों एक repeater और एक wiring center के जैसे serve करता है. इनका इस्तमाल nodes के बिच ज्यादा से ज्यादा distance को extend करने के लिए इस्तमाल होता है. यह active hub ज्यादा काम करता है एक connector से वहीँ ये data bits को regenerate करता है ये ensure करने के लिए की signals strong है या नहीं. Active hub दूसरा नाम होता है एक multiport repeater.

यह एक network में actively participate करने के साथ साथ एक interface के जैसा behave भी करता है. ये आसानी से data को monitor भी कर सकता है उन्हें forwarding करने से पहले और कभी कभी तो ये signals को improve भी करती है उन्हें दुसरे connections को forward करने से पहले. ऐसे feature होने से network problems को आसानी से troubleshoot किया जा सकता है.

Intelligent Hub

एक intelligent hub बड़ी ही आसानी से उन सभी कार्यों को perform कर सकता है जिन्हें की एक passive hub और active hub करते हैं, और साथ में ये मदद करते हैं network resources को effectively manage करने में जिससे की network का performance highly efficient हो.

एक intelligent hub के माध्यम से problem के actual location को identify किया जा सकता है जिससे की उसे जड़ से ख़त्म किया जा सके. ये बहुत ही ज्यादा adaptable होता है different technologies को और इसके configuration में बिना ज्यादा बदलाव किये ही इसे इस्तमाल किया जा सकता है. ये intelligent hub बहुत से अलग अलग functions भी perform करता है जैसे की bridging, routing, switching और network management.

नेटवर्क हब क्या है

Network hub ऐसा networking device होता है जो की multiple peripherals से connected होता है एक network में और उन्हें एक ही single segment के जैसे कार्य करने में मदद करता है, वहीँ ये switch या router के विपरीत ये data को broadcast करता है प्रत्येक connection के across न की उन्हें specific device को route करता है.

Network hubs की अलग अलग speeds भी होते हैं, जिन्हें की network data rate या bandwidth कहा जाता है. जहाँ पहले के older network hubs केवल 10 Mbps speeds प्रदान करते थे, वहीँ अभी के hubs 100 Mbps तक की speed प्रदान करते हैं. अभी के बड़े networks में, ये जरुरी होता है की एक dual speed network hub का इस्तमाल किया जाता है, और ये दोनों 10 और 100 Mbps में आता है जो की computers और printers को connection points प्रदान करता है. इसलिए hub की खरीदारी के पहले इस बात को ध्यान दें की आपके उस network hub के साथ कितने equipments connect होने वाले हैं.

Network Hub के Features क्या होते है?

क्या आपको पता है एक बड़ी हब से अधिकतम कितने कंप्यूटर जुड़ सकते है? अगर हम एक USB hub की बात करें तो हम इसमें हम 127 devices कनेक्ट कर सकते है और नेटवर्क हब में 32. चलिए अब जानते हैं Network Hub के Features क्या होते हैं.

  • ये half duplex mode में operate होती है.
  • ये 4 से लेकर 24 port sizes में available होती है.
  • इसमें Hosts ही responsible होते हैं अगर कोई collision detection और retransmission of packets होता है तब.
  • इनकी मुख्य रूप से तीन प्रकार होते हैं: – Active hub, passive hub और intelligent hub.

हब कैसे काम करता है

यदि हम सही माईने में देखें तब एक network hub ज्यादा एक variable port repeater होता है, और न की केवल एक common link होता है cluster of computers के लिए. इसका जो बहुत ही common operation होता है वो ये की इसे जो भी information प्राप्त होता है उन्हें ये आगे सभी PC terminals जो की attached होते हैं उन्हें ये forward कर देता है. इसमें जो एक बड़ी disadvantage है वो ये की इसमें data की repetition होती है जिससे की unnecessary data traffic को network में sent किया जाता है. इसलिए इसमें data को sent किया जाता है bulk में बिना उसके destination को identify किये ही.

हब कैसे काम करते है

हब कैसे काम करते है

वहीँ अगर हम इसकी तुलना करे switches से तब वो ज्यादा efficient तरीके से कार्य करता है, switches data traffic के flow को control करता है एक organized तरीके से. एक switch बहुत ही intelligent device होता है. ये आसानी से ये identify कर लेता है की किसे data send किया जाये. सही data packets को appropriate units में transfer करने से network bandwidth में बढ़ोतरी होती है. इसलिए हम कह सकते हैं की Hubs के जगह में Switch का इस्तमाल करने से network में unnecessary data load नहीं होता है. ये unnecessary data flow से वही समान मात्रा की information को सभी units तक भेजा जाता है चाहें वहां उनकी जरुरत हो या न हो.

Hubs का इस्तमाल छोटे networks में ज्यादा होता है, वहीँ Switch का इस्तमाल large network में होता है. ये Network hubs ऐसे devices होते हैं जो की OSI Model के layer one (physical layer) में operate करते हैं, वहीँ switches layer 2(data link layer) में operate करते हैं OSI model के. अक्सर एक switch और एक hub को combined कर इस्तमाल किया जाता है एक switching hub के हिसाब से, और ये सही data packets को सही जगह तक पहुँचाने में मदद करता है.

Hubs के Uses क्या होते हैं?

इन network hub को switches के जगह में इस्तमाल किया जा सकता है क्यूंकि ये ज्यादा expensive नहीं होते हैं. सस्ते होने के साथ साथ ये बहुत से कार्य में ही इस्तमाल किये जाते हैं.

1.  कुछ special cases में hub को network taps के स्थान में इस्तमाल किया जाता है जिससे की protocol analyzer का effective installation हो सके.

2.  Network hub बहुत ही ज्यादा efficient होता है बहुत ही बड़े traffic load को receive करने के लिए जो की cluster of computers के लिए आता है.

3.  ये बहुत ही आसान होते हैं इस्तमाल करने के लिए. वहीँ अगर हमें switch का इस्तमाल करना पड़ा hub के स्थान पर तब हमें switch settings को पहले configure करना होगा.

4.  इन्हें इस्तमाल किया जा सकता है एक loop को establish करने के लिए, जहाँ पर ये जरुरी हो की end users को एक connection प्रदान किया जाये एक presentation hall में.

5.  Hubs को network extension के लिए इस्तमाल किया जा सकता है क्यूंकि network hubs प्रत्येक data packets को आगे repeat करते हैं उन्हें जो भी भेजा जाये.

6.  वहीँ hubs को ज्यादा specifically small networks में ज्यादा इस्तमाल किया जाता है.

अपने घर में एक Network Hub कैसे Set करे?

यदि आपको अपने घर में network hub set करना है तब इसके लिए आपको कुछ जरुरी steps करने होंगे. जैसे पहले आपको एक एक Internet connection लाना होगा एक ISP (Internet Service Provider) से. एक बार आपका Internet connection installed हो जाये, तब आप अपने network hub को connect कर सकते हैं modem के साथ और इसके लिए आप एक network cable (Cat5 or RJ-45) का इस्तमाल कर सकते हैं.

इसके बाद आप चाहें तो आपके computer के NIC (Network Interface Card) के साथ एक और cable भी connect कर सकते हैं. ये आप अपने दुसरे computers और printers के साथ भी कर सकते हैं जो की आपके network में होते हैं. वहीँ अगर आपके पास एक wireless network हो, तब आप एक wireless hub का इस्तमाल कर सकते हैं; बस इस बात को ensure करें की आपके hub में उतने wireless ports available हो जितनी की आपकी connection हो.

Hub के Advantages क्या होते हैं?

चलिए Hubs के Advantages के विषय में जानते हैं.

➨  ये आसानी से network के पुरे distance में extend हो सकता है.
➨  इनके इस्तमाल से network के performance को ज्यादा affect नहीं पड़ता है.
➨  ये बहुत ही सस्ते होते हैं इसलिए इन्हें हर कोई इस्तमाल कर सकता है.
➨  इनके साथ बहुत से अलग अलग media types को आसानी से connect किया जा सकता है.

Hub के Disadvantages क्या होते हैं?

चलिए Hubs के कुछ disadvantages के विषय में जानते हैं

➨  इसमें बहुत से advanced mechanisms नहीं होते हैं जैसे की collision detection और retransmission of packets.
➨  ये Full Duplex Mode में operate नहीं होते हैं.
➨  ये दुसरे network architectures जैसे की token ring और ethernet के साथ connect नहीं हो सकता है.
➨  इसका इस्तमाल information को filter करने के लिए नहीं किया जा सकता है i.e. ये packets को pass करती है सभी connected segments को.
➨  इसमें network traffic को कम करने के लिए कोई mechanism नहीं होता है.

Hub के Applications क्या हैं?

Networking Hub एक बहुत ही widely इस्तमाल किया जाने वाला networking connectivity device होता है. इसके बहुत से advantages होते हैं दुसरे connectivity devices की तुलना में. चलिए Hub के कुछ Applications के विषय में जानने की कोशिश करते हैं :

  • Hubs का इस्तमाल छोटे Home Networks create करने के लिए होता है.
  • Hubs का इस्तमाल networks को monitor करने के लिए होता है.
  • इन Hubs का उपयोग बहुत से Organizations और Computer Labs में connectivity करने के लिए इस्तमाल होता है.
  • इसके इस्तमाल से ये एक device या peripheral को available करवाता है पुरे network में.

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